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टास्क फोर्स की बैठक में लिया गया अहम फैसला :: अस्पतालों एवं क्लीनिकों में तीन तरह का डस्टबिन रखना अनिवार्य

बेगूसराय ::–

विजय श्री ::–

सोमवार को जिलाधिकारी राहुल कुमार की अध्यक्षता में कार्यालय कक्ष में ही जिला टास्क फोर्स की बैठक आयोजित की गयी।

जहां जिलाधिकारी ने उपस्थित अधिकारियों को कई आवश्यक दिशा-निर्देश देते हुए बताया कि राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण, नई दिल्ली के नियम के हिसाब से ही टास्क फोर्स को अनुसरण करना है।

इसके तहत सभी पांच नगर निकायों में डोर-टू-डोर कचड़ा का उठाव हो रहा है और जल्द ही सभी वार्डों में भी डोर-टू-डोर कचरा उठाव शुरू हो जाएगा।

सभी नगर निकाय में प्रसंस्करण इकाई लगाया जाना है। नगर निगम बेगूसराय में 10 इकाई लगाना है, जिसमें 5 जगहों को चिन्हित कर लिया गया है। और संबंधित विभाग को एनओसी के लिए भेजा गया है।
नगर परिषद बीहट में 5 इकाई लगाना है, जिसमें चार जगहों को चिन्हित कर लिया गया। वहीं नगर पंचायत बलिया में 4 इकाई लगाना है जिसमें जगह चिन्हित किया जा रहा है। बखरी नगर पंचायत में 4 इकाई लगाना है जिसमें दो प्रस्ताव खारिज हो गया और दो प्रस्ताव को एनओसी के लिए भेजा गया है। तेघड़ा नगर पंचायत में पांच इकाई लगाया जाना है, जिसमें तीन को चिन्हित कर लिया गया है।

नगर निगम के लिए लैंडफिलीग साइट के लिए 8 एकड़ जमीन का चयन कर लिया गया है। बीहट में साइट का चयन मल्हीपुर में कर लिया गया। बाकी अन्य नगर निकायों में भी लैंड फ़िलिग साइट का चयन प्रक्रिया में है।

निर्माण एवं विध्वंस अपशिष्ट के संगठन एवं निस्तारण हेतु बेगूसराय नगर निगम अंतर्गत यूआई का प्रकाशन हो चुका है।

जिला पदाधिकारी ने बताया की बायो वेस्ट के लिए सभी सरकारी और निजी अस्पतालों एवं क्लीनिक में तीन तरह का डस्टबिन रखना अनिवार्य है।

सिविल सर्जन के द्वारा बताया गया कि अस्पताल का ठोस अपशिष्ट डिस्पोज ऑफ करने के लिए “सर्जरी बायो वेस्ट” को काम दिया गया है। जो सभी सरकारी और निजी अस्पताल से टाइअप कर बायो वेस्ट का डिस्पोजल किया जा रहा है।
बेगूसराय जिले के 18 उपचार केंद्र व जांच घरों को जीव चिकित्सा अपशिष्ट प्रबंधन नियमावली 2019 के प्रावधानों का अनुपालन नहीं करने पर, अपना इकाई बंद करने का नोटिस दिया गया है। यह नोटिस बिहार राज्य प्रदूषण नियंत्रण पर्षद द्वारा निर्गत किया गया है।

18 क्लिनिक में से एक क्लिनिक महावीर शल्य संस्थान, पावर हाउस रोड, बेगूसराय का क्लोजर ऑर्डर विभाग द्वारा वापस ले लिया गया है।

जिला पदाधिकारी ने बताया कि अगले फेज में पंचायत को टारगेट किया जाएगा। तीन आदर्श ग्राम पंचायत में अमारी छौराही प्रखंड, लाखों सदर प्रखंड, चकहमीद बखरी प्रखंड में डोर-टू-डोर कचड़ा का उठाव शुरू हो गया है। जिले के 80% पंचायत के पानी में आर्सेनिक और आयरन की समस्या है। इसके लिए “फेड विभाग” द्वारा सभी क्वालिटी इफेक्टेड क्षेत्र में पानी का ट्रीटमेंट कर पीने लायक बनाया जा रहा है।

यह टास्क फोर्स 2 महीने में एक बार बैठक करेगी तथा अपना प्रतिवेदन ठोस अपशिष्ट प्रबंधन नियमावली 2016 के प्रावधानों के अंतर्गत प्रथम प्रधान सचिव नगर विकास एवं आवास विभाग की अध्यक्षता में गठित राज्य स्तरीय सलाहकार समिति को प्रस्तुत करेगी।

इस मौके पर सिविल सर्जन ब्रजनंदन शर्मा, जिला पंचायती राज पदाधिकारी मंजू प्रसाद, नगर आयुक्त अब्दुल हमीद, डीपीएम शैलेश चंद्रा, दिलीप सिन्हा सहित अन्य उपस्थित थे।

By National News Today

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